'भारत-UK CETA का परिवर्तनकारी प्रभाव', PM मोदी ने ऐतिहासिक व्यापार समझौते की सराहना कीBy Admin Fri, 25 July 2025 06:06 AM

नई दिल्ली — प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत-ब्रिटेन मुक्त व्यापार समझौते (FTA) की सराहना करते हुए इसे द्विपक्षीय आर्थिक संबंधों में एक परिवर्तनकारी कदम करार दिया है।

प्रधानमंत्री मोदी ने MyGovIndia द्वारा सोशल मीडिया मंच X (पूर्व में ट्विटर) पर साझा किए गए एक पोस्ट को रीट्वीट करते हुए लिखा, "यह एक सूचनात्मक थ्रेड है, जो भारत-UK CETA के परिवर्तनकारी प्रभाव की झलक देता है…"

“A People’s Deal Begins Now!” शीर्षक वाले इस थ्रेड में भारत-UK व्यापक आर्थिक और व्यापार समझौते (CETA) के व्यापक लाभों को उजागर किया गया है। इसे एक "गेम-चेंजर समझौता" बताया गया है, जो भारतीय किसानों, MSMEs, युवाओं, महिला उद्यमियों और पेशेवरों के लिए वैश्विक अवसरों के द्वार खोलेगा।

यह समझौता प्रधानमंत्री मोदी की ब्रिटेन यात्रा के दौरान संपन्न हुआ और इसे भारत-UK संबंधों में एक ऐतिहासिक मोड़ के रूप में देखा जा रहा है। इससे दोनों देशों के बीच वार्षिक द्विपक्षीय व्यापार में लगभग $34 बिलियन की वृद्धि होने की उम्मीद है।

समझौते के तहत, भारत ब्रिटेन के 90% उत्पादों पर शुल्क कम करेगा, जबकि UK भारत के 99% निर्यात पर ड्यूटी कम करेगा। यह टैरिफ और रेगुलेटरी बाधाओं में बड़ी राहत देगा, जिससे दोनों देशों के कारोबारियों के लिए लागत में कमी और बाज़ार तक बेहतर पहुंच सुनिश्चित होगी।

ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टारमर ने भी इस समझौते को एक बड़ी उपलब्धि बताया। उन्होंने कहा, "भारत के साथ यह ऐतिहासिक व्यापार समझौता ब्रिटेन के लिए एक बड़ी जीत है। यह देशभर में हजारों नई नौकरियों का सृजन करेगा, कारोबारों के लिए नए अवसर खोलेगा और हर क्षेत्र में आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देगा।"

भारतीय उपभोक्ताओं को भी इस समझौते से लाभ मिलेगा, क्योंकि अब स्कॉच व्हिस्की, जिन, लग्ज़री कारें, कॉस्मेटिक्स और मेडिकल डिवाइसेज़ जैसी आयातित वस्तुएं सस्ती हो जाएंगी। वहीं, भारतीय निर्यातक, विशेषकर टेक्सटाइल और लेदर उद्योग, शून्य शुल्क का लाभ उठाकर बांग्लादेश और कंबोडिया जैसे देशों के मुकाबले ज्यादा प्रतिस्पर्धी बन सकेंगे।

समझौते के तहत भारतीय कृषि उत्पादों को भी जर्मनी जैसे प्रमुख यूरोपीय देशों के बराबर टैरिफ रियायतें मिलेंगी, जिससे भारतीय किसानों को महत्वपूर्ण लाभ होने की संभावना है।

जैसे-जैसे भारत और UK अपने रणनीतिक और आर्थिक संबंधों को मजबूत कर रहे हैं, यह FTA एक "जन-केंद्रित समझौता" माना जा रहा है, जो दोनों देशों के वाणिज्यिक रिश्तों को नया आकार देगा और सभी क्षेत्रों में विकास को गति देगा।

 

With inputs from IANS