नई दिल्ली (IANS): भारत ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए निर्मम आतंकी हमले के जवाब में पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) में नौ ठिकानों पर मिसाइल स्ट्राइक की। इस 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत 70 से अधिक आतंकवादियों को मार गिराया गया, जबकि 60 से ज्यादा घायल हुए हैं।
कार्रवाई के निशाने पर मुजफ्फराबाद, कोटली, बहावलपुर, रावलाकोट, चकस्वारी, भीमबर, नीलम घाटी, झेलम और चकवाल के आतंकवादी ठिकाने थे।
सरकार ने बुधवार सुबह की प्रेस वार्ता में बताया कि यह कार्रवाई "संयमित, गैर-उकसाऊ, संतुलित और जिम्मेदार" तरीके से की गई। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि लक्ष्य सटीक खुफिया जानकारी के आधार पर चुने गए थे और इस अभियान का मकसद आतंकी ढांचे को नष्ट करना और सक्रिय आतंकवादियों को निष्क्रिय करना था।
मिस्री के साथ प्रेस कॉन्फ्रेंस में सेना की कर्नल सोफिया कुरैशी और वायुसेना की विंग कमांडर व्योमिका सिंह ने भी हिस्सा लिया। उन्होंने बताया कि कैसे इन ठिकानों का सीधा संबंध पाक स्थित आतंकी संगठनों और भारत में हुई आतंकी गतिविधियों से था।
रात 1:44 बजे शुरू हुए इस त्रि-सेवा अभियान में भारतीय थलसेना, नौसेना और वायुसेना ने मिलकर कार्यवाही की। सूत्रों के अनुसार, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद पूरी रात इस अभियान की निगरानी कर रहे थे।
भारत ने उन अड्डों को निशाना बनाया जहां से आतंकी हमलों की योजना बनाई जा रही थी और उन्हें अंजाम दिया जा रहा था। सरकार के मुताबिक, किसी भी पाकिस्तानी सैन्य ठिकाने को निशाना नहीं बनाया गया और कार्रवाई पूरी तरह से संतुलित और रणनीतिक रही।
भारत सरकार ने बयान में कहा, “हमने पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि इस हमले के ज़िम्मेदारों को सज़ा दी जाएगी और हमने उस वादे को निभाया है।”