
नई दिल्ली। वाणिज्य मंत्रालय द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका की टैरिफ नीतियों से वैश्विक बाजार में बनी अनिश्चितताओं के बावजूद भारत का वस्तु व्यापार घाटा नवंबर महीने में घटकर 24.53 अरब डॉलर रह गया। यह अक्टूबर में 41.68 अरब डॉलर था, यानी इसमें उल्लेखनीय कमी दर्ज की गई है।
नवंबर 2025 में भारत का वस्तु निर्यात 38.13 अरब डॉलर रहा, जबकि आयात 62.66 अरब डॉलर आंका गया। इसी अवधि में सेवा क्षेत्र के निर्यात में भी वृद्धि देखी गई और यह 32.11 अरब डॉलर से बढ़कर 35.86 अरब डॉलर हो गया। वहीं, सेवा आयात नवंबर में 17.96 अरब डॉलर रहा, जो पिछले वर्ष की समान अवधि में 17.25 अरब डॉलर था।
कुल मिलाकर नवंबर महीने में भारत का कुल निर्यात 73.99 अरब डॉलर रहा, जो पिछले वर्ष नवंबर के 64.05 अरब डॉलर की तुलना में वृद्धि दर्शाता है। इस दौरान कुल आयात में हल्की गिरावट दर्ज की गई और यह नवंबर 2024 के 81.11 अरब डॉलर के मुकाबले घटकर 80.63 अरब डॉलर रहा।
वाणिज्य सचिव राजेश अग्रवाल ने आयात में आई कमी का श्रेय सोना, कच्चा तेल और कोयले के आयात में गिरावट को दिया। उन्होंने कहा, “नवंबर महीने में सोने का आयात लगभग 60 प्रतिशत घटा है, जिससे देश के व्यापार घाटे को कम करने में मदद मिली है।”
उन्होंने यह भी कहा कि नवंबर में अक्टूबर के नुकसान की भरपाई हो गई है और चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से नवंबर के बीच निर्यात का आंकड़ा पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में अधिक रहा है।
केंद्र सरकार ने अमेरिका द्वारा भारतीय निर्यात पर लगाए गए दंडात्मक टैरिफ के प्रभाव को कम करने के लिए कई कदम उठाए हैं। इनमें जीएसटी दरों में कटौती, नए निर्यात बाजारों को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन पैकेज और श्रम सुधार शामिल हैं।
इस बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच पिछले सप्ताह टेलीफोन पर बातचीत हुई थी। यह बातचीत अमेरिका के वरिष्ठ अधिकारियों के एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल के व्यापार वार्ता के लिए दिल्ली दौरे के बाद हुई।
भारत अपने निर्यात बाजारों में विविधता लाने पर भी सक्रिय रूप से काम कर रहा है। इस रणनीति के तहत सरकार इंजीनियरिंग उत्पादों, दवाइयों, कृषि और रसायन जैसे लगभग 300 उत्पादों की पहचान कर रही है, जिन्हें रूस को निर्यात किया जा सकता है। दोनों देशों का लक्ष्य वर्ष 2030 तक आपसी व्यापार को 100 अरब डॉलर तक पहुंचाना है।
वर्तमान में इन उत्पादों के मामले में भारत का रूस को निर्यात 1.7 अरब डॉलर है, जबकि रूस का कुल आयात 37.4 अरब डॉलर तक पहुंच चुका है।
With inputs from IANS